76th pac foundation day: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पीएसी के 76वें स्थापना दिवस समारोह शामिल हुए जहां उन्होंने बेस्ट बटालियन अवार्ड, बेस्ट प्लाटून ड्रील, सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों व मेधावी छात्रों को स्मृति चिह्न व नकद पुरस्कार से सम्मानित किया. इस मौके पर सीएम योगी ने पीएसी में पदोन्नति की विसंगतियों को जल्द दूर करने का आश्वासन दिया. इसके लिए गृह विभाग को निर्देश भी दिया जा चुका है और जल्द ही इसकी घोषण भी होगी, जिससे पीएसी बल का मनोबल बढ़ा रहे.
जवानों के शौर्य और पराक्रम से बनती है किसी बल की छवि
सीएम योगी ने कहा कि देश की आजादी एंव पीएसी के स्थापना दिवस का शताब्दी वर्ष एक ही साथ मनाया जाएगा, लिहाजा इसके लिए तैयारियां शुरू कर दी जाएं. उन्होंने कहा कि प्रदेश में पीएसी बल कानून-व्यवस्था को बेहतर बनाने में अहम योगदान दे रहा है. किसी भी बल की छवि उसके जवानों के शौर्य और पराक्रम से निर्मित होती है. इस दृष्टि से उत्तर प्रदेश पीएसी का इतिहास सदैव स्वर्णाक्षरों में लिखा जाएगा. धार्मिंक, सार्वजनिक कार्यक्रमों, विशिष्ट महानुभावों की सुरक्षा, यातायात सुरक्षा, यूपी 112, एसटीएफ, एटीएस, एसडीआरएफ में भी पीएसी बल उल्लेखनीय कार्य कर रहा है.
पहली बार कुशल खिलाड़ियों को बनाया पुलिस बल का हिस्सा
मुख्यमंत्री ने कहा कि पीएसी में महिलाओं की भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए सरकार ने तीन महिला बटालियन लखनऊ, गोरखपुर और बदायूं में वीरांगना ऊदा देवी, वीरांगना झलकारी बाई और वीरांगना अवंती बाई के नाम पर स्वीकृति दी है. जिसका कार्य शुरू हो चुका है. आपको बता दें कि पहली बार कुशल खिलाड़ियों को पुलिस बल का हिस्सा बनाया गया है. वहीं, अब तक 500 से अधिक कुशल खिलाड़ियों की भर्ती की जा चुकी है.
9 टीमों को किया गया क्रियाशील
इतना ही नहीं, एसडीआरएफ की एक बटालियन का भी सृजन किया गया है, जिसमें 6 कंपनियां और 18 टीमें शामिल हैं. जिसमें से तीन कंपनियों अर्थात 9 टीमों को क्रियाशील भी कर दिया गया है, वहीं बाकी तीन कंपनियों को जल्द ही शुरू कर दिया जाएगा. साथ ही तीन अन्य कंपनियों के उपयोग के लिए मोटर वोट समेत अन्य उपकरणों के लिए सरकार ने आवश्यक धनराशि स्वीकृत की है.
इतिहास में स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाएगा पीएसी का योगदान
सीएम ने कहा कि साल 2001 में संसद पर हमला हो या फिर रामजन्मभूमि पर आतंकी हमला, पीएसी बल के जवानों ने अपने शौर्य का प्रदर्शन करते हुए हमलावरों को ढेर किया था. उनका यह योगदान इतिहास में स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाएगा. वहीं पहले की सरकारों में पीएसी बल को लेकर संकीर्ण सोच थी.
पहले की सरकारों ने 46 कंपनियों को समाप्त कर दिया था जिसे हमने पुनर्जीवित किया है. वर्तमान में पीएसी की 35 वाहिनियों में 273 कंपनियां पूर्ण तरीके से क्रियाशील हैं. पीएसी के 10,584 पदों पर जल्द ही सीधी भर्ती की प्रक्रिया भी शुरू होगी. इसके अलावा 31 वाहिनियों में प्रत्येक में 200 कर्मियों के लिए बहुमंजिला आवासीय इमारतों का भी निर्माण कराया जा रहा है.
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