Pakistan: सत्तारूढ़ पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) ने पूर्व पीएम इमरान खान की पार्टी को बैन करने का फैसला लिया है. उधर, पीएमएल-एन के अंदरखाने इस फैसले को लेकर उहापोह की स्थिति बनी हुई है. दरअसल, इस फैसले पर पार्टी के कुछ नेताओं ने असहमति जताई है. गठबंधन सरकार में कुछ पार्टियों ने पाकिस्तान तहरीक-ए-तालिबान (पीटीआई) पर प्रतिबंध लगाने की कड़ी निंदा भी की है. फैसले का खुद पीएमएल-एन पार्टी से जुड़े एक वरिष्ठ नेता ने भी इसका विरोध किया है.
मालूम हो कि सोमवार को पाकिस्तानी सरकार ने पीटीआई पर अवैध रूप से विदेश से धन प्राप्त करने और दंगों को भड़काने का आरोप लगाया था. इसके साथ पीटीआई पर प्रतिबंध लगाने का फैसला लिया गया. पीटीआई पर देशविरोधी गतिविधियों का भी आरोप लगाया गया. इसके अलावा पाकिस्तान सरकार ने इमरान खान के साथ-साथ पूर्व राष्ट्रपति आरिफ अल्वी सहित अन्य नेताओं पर देशद्रोह का आरोप लगाया. अब पाकिस्तान सरकार के इस फैसले के खिलाफ विरोध के सुर तेज हो गए हैं. ऐसे में शहबाज शरीफ के नेतृत्व वाली सरकार मुश्किलों में फंसती दिख रही है.
पीएमएल-एन के एक नेता ने दावा किया कि पीटीआई पर प्रतिबंध लगाने के फैसले को लेकर सर्वोच्च अदालत में सुनवाई की जाएगी. उधर, पार्टी के एक और नेता ने कहा है कि संसद में इस मामला उठ सकता है. उधर, उप प्रधानमंत्री इशाक डार का कहना है कि प्रतिबंध को लेकर कोई फैसला नहीं लिया गया. ऐसे में सत्तारूढ़ पार्टी अब ‘क्या करें और क्या ना करें’ वाली स्थिति में आ गई है. सिर्फ इतना ही नहीं, पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने सियालकोट में पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि पीटीआई पर प्रतिबंध लगाने का फैसला सही है, लेकिन, सभी सहयोगी पार्टियों से परामर्श लिया जाएगा. इसके बाद संसद में इस मामले को रखा जाएगा.
इससे साफ है कि, पीएमएल-एन के कुछ नेता पीटीआई पर प्रतिबंध लगाने के फैसले के खिलाफ नजर आ रहे है. पूर्व पीएम नवाज शरीफ के करीबी माने जाने वाले मियां जावेद लतीफ का कहना है कि किसी भी पार्टी पर प्रतिबंध लगाना ठीक नहीं है. उनका कहना है कि राष्ट्रीय पार्टियां देश की धरोहर की तरह हैं और इन पर प्रतिबंध लगाना सही नहीं है.