Ocean Drilling: समुद्र के नीचे वैज्ञानिक करा रहे गहरा छेद, धरती में गहराई में क्या ढूंढा जा रहा
पृथ्वी के ऊपरी परत में 1,268 मीटर यानी अब तक का सबसे गहरा छेद जीवन की उत्पत्ति का कोई खास सुराग दे सकता है.
वैज्ञानिकों की एक टीम ने समुद्र के नीचे का पर्वत अटलांटिस मैसिफ क्षेत्र में यह गहरा छेद खोदा, क्योंकि उत्तरी अटलांटिक महासागर के मध्य में स्थित इस क्षेत्र में पृथ्वी का आवरण खुला रहता है.
वैज्ञानिकों ने इस छेद से एक ऐसा रॉक सैंपल हासिल किया है, जिससे अरबों साल पहले पृथ्वी पर जीवन की उत्पत्ति के बारे में खास सुराग हाथ लग सकता है.
पृथ्वी के आवरण में अब तक का सबसे गहरा छेद खोदने से पहले वैज्ञानिकों ने अटलांटिस मैसिफ नामक पानी के नीचे के पहाड़ के पास समुद्र तल में सिर्फ 200 मीटर गहराई तक जाने की शुरुआती योजना बनाई थी.
यह योजना काफी महत्वाकांक्षी मानी जा रही है, क्योंकि इससे पहले ऐसा प्रयास कभी नहीं हुआ था.
रिपोर्ट के मुताबिक, इस ऑशन ड्रिलिंग से एक नया रॉक कोर सामने आया है जो हमारे ग्रह की सबसे बाहरी परतों के विकास के अलावा, पृथ्वी पर जीवन कैसे शुरू हुआ जैसे सवालों के बारे में भी गहरी जानकारी उपलब्ध करा सकता है.
हम सब जानते हैं कि पृथ्वी विभिन्न परतों से बनी है. इसमें एक ठोस बाहरी परत, एक ऊपरी और निचला मेंटल और एक कोर.
पृथ्वी का ऊपरी मेंटल भूकंप और अन्य प्रक्रियाओं जैसे जल चक्र और ज्वालामुखियों और पहाड़ों के निर्माण के लिए जिम्मेदार है.
समुद्र के भीतर गहराई में स्थित अटलांटिस मैसिफ़ भी एक ऐसा क्षेत्र है जहां इसकी परछाइयां उजागर होती हैं.
यह पर्वत पृथ्वी के आवरण का पता लगाने और पृथ्वी के आकर्षक इतिहास को खोदकर जानने का स्थान बन गया.
कुछ विशेषज्ञों का मानना है कि पृथ्वी पर जीवन हाइड्रोथर्मल वेंट के पास समुद्र की गहराई में शुरू हुआ. इससे सूक्ष्म जीवविज्ञानियों को स्थिती को जानने में मदद मिल सकती है.
ड्रिलिंग जहाज JOIDES रेजोल्यूशन से लिसेनबर्ग और उनकी टीम ने मेंटल में 200 मीटर तक जाने की योजना के साथ ड्रिलिंग शुरू की.
वैज्ञानिकों की टीम का हिस्सा रहे लीड्स विश्वविद्यालय के एंड्रयू मैककैग ने कहा, "हमने लगातार चट्टानों के लंबे खंडों को बरामद किया और इसके साथ बने रहने और जितना संभव हो उतना गहराई तक जाने का फैसला किया."