US News: पिछले दो महीनों में भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) यूक्रेन और रूस का दौरा कर चुके हैं. पीएम मोदी के रूस की यात्रा के बाद अमेरिका के साथ लगातार संबंध बिगड़ने की बात उठ रही थी. हालांकि, अब अमेरिका की पूर्व विदेश मंत्री कोंडोलीजा राइस ने प्रधानमंत्री मोदी की रूस यात्रा को लेकर चिंताओं को खारिज कर दिया है. उन्होंने कहा कि वॉशिंगटन हर पांच मिनट में नई दिल्ली से वफादारी की परीक्षा नहीं ले सकता.
बोलीं पूर्व विदेश मंत्री कोंडोलीजा- जो भी व्हाइट हाउस में आता…
अमेरिका की पूर्व विदेश मंत्री भारत अमेरिका रक्षा त्वरित पारिस्थितिक तंत्र (इंडस-एक्स) में भारत-अमेरिका संबंधों को स्थायी और द्विदलीय बताया. साथ ही इस बात पर जोर दिया कि जो भी व्हाइट हाउस में आता है, वह इस रिश्ते के महत्व को जानता है. कोंडोलीजा राइस ने आगे कहा, जैसा कि भारत कहता है कि देशों को रणनीतिक स्वायत्तता चाहिए और मुझे इससे कोई समस्या नहीं है. लेकिन, यह हमारे (अमेरिका और भारत के) गहरे हित हैं, जो अंतत: एक मजबूत साझेदारी की ओर ले जाएंगे.
‘रक्षा के मामले में नहीं होगा कुछ खास‘
कोंडोलीजा राइस ने रूसी सैन्य उपकरणों को कबाड़ बताया. उन्होंने कहा, पीएम मोदी की मॉस्को यात्रा से रक्षा के मामले में कुछ खास प्रगति नहीं होगी. पूर्व विदेश मंत्री कोंडोलीजा ने संकेत दिया कि अमेरिका मानता है कि भारत के साथ सैन्य सहयोग बढ़ाने में वह धीमा रहा है और उसने कुछ महत्वपूर्ण समय और अवसर गंवाए हैं. उन्होंने आगे कहा कि प्रधानमंत्री मोदी चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग और उनके रूसी समकक्ष व्लादिमीर पुतिन के बीच सीमा रहित संबंधों से अवगत हैं और यह भारत के लिए एक बड़ी चुनौती बन सकता है.