अमृतसरः अमेरिका से डिपोर्ट 104 भारतीयों की वतन वापसी हो गई है. इनको लेकर अमेरिकी विमान अमतृसर में लैंड हुआ. अमेरिकी से डिपोर्ट होकर भारत के छह राज्यों के लोग दोपहर में श्री गुरु रामदास जी अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट पर पहुंच चुके हैं.104 यात्रियों का अमेरिकी सैन्य विमान सी-17 अमेरिका के शहर सैन एंटोनियो से फ्लाइट संख्या आरसीएम 175 लेकर यहां आया है. पहले विमान के सुबह आठ बजे पहुंचने की सूचना थी, लेकिन अब यह दोपहर दो बजे पहुंचा और साढ़े चार बजे वापस रवाना होगा. एयरपोर्ट पर सुरक्षा एजेंसियां इसे लेकर पूरी तरह से अलर्ट है.
इन राज्यों के हैं इतने लोग
यूएस एयरफोर्स का सी-17 ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट से अमृतसर के श्री गुरु रामदास जी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर दोपहर में लैंड किया. 104 भारतीय की सूची में छह राज्यों के लोग शामिल है, जिनमें गुजरात के 33, पंजाब के 30, हरियाणा के 33, उत्तर प्रदेश के 02, चंडीगढ़ के 02 और महाराष्ट्र के 03 लोग शामिल हैं.
बताया जा रहा है कि डिपोर्ट होकर आने वाले लोगों के दस्तावेज चेक करने के अलावा उनकी पूरी पृष्ठभूमि खंगाली जाएगी. अगर किसी का आपराधिक रिकॉर्ड निकला तो उसे जेल जाना होगा.
विमान में डिपोर्ट किए गए कुल कितने भारतीय है, अभी तक इसकी कोई अधिकारिक पुष्टि नहीं कर रहा है. संभावना है कि अमेरिका से डिपोर्ट हुए भारतीयों में कुछ लोग ऐसे हो सकते हैं, जो भारत में कोई न कोई अपराध करके वहां गए हो.
सत्ता संभालते ही ट्रंप ने शुरू की डिपोर्ट की कार्रवाई
मालूम हो कि अमेरिका में नए राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के सत्ता संभालने के साथ ही अवैध तरीके से घुसे भारतीयों को डिपोर्ट करने की कार्रवाई शुरू की है. इसके तहत ही 205 यात्रियों का क्रू आज आ रहा है. अभी तक 104 भारतीयों की प्रथम सूची प्राप्त हुई है. विमान में 11 क्रू मेंबर और 45 अमेरिकी अधिकारी शामिल है, जो डिपोर्ट होने वाले भारतीयों को एयरपोर्ट पर उतारकर वापस रवाना हो जाएंगे.
सुरक्षा के किए गए हैं कड़े इंतजाम
डिपोर्ट होकर आने वाले दूसरे राज्यों के लोगों को एयरपोर्ट के अंदर से ही हवा मार्ग से उनके राज्यों को भेजने की व्यवस्था की गई है, जबकि पंजाब, हरियाणा व चंडीगढ़ के लोगों को सड़क मार्ग से ले जाने के लिए गाड़ियों का प्रबंध किया गया है.
शासन और पुलिस की ओर से इस बाबत सुरक्षा के कड़े प्रबंध किए गए है और पूरे मामले को लेकर सुरक्षा एजेंसियां पूरी तरह से सतर्कता बरत रही है. कार्रवाई को जल्दी निपटाने के लिए कस्टम, इमीग्रेशन और पुलिस की ओर से हेल्प डेस्क स्थापित किए गए है.
फिलहाल, अभी तक डिपोर्ट होकर आ रहे भारतीयों को डिटेन करने का कोई आदेश नहीं है और न ही जिला प्रशासन ने किसी भी तरह का कोई डिटेंशन सेंटर बनाया है.