कोच्चिः कुवैत में इमारत में लगी आग की घटना में मृत 45 भारतीयों के पार्थिव शरीर को भारत लाया गया है. शवों को विशेष विमान से कोच्चि एयरपोर्ट लाया गया, जहां पहले से एंबुलेंस तैनात थी. पार्थिव शरीर कोच्चि हवाई अड्डे पर पहुंचने पर एर्नाकुलम रेंज के डीआईजी पुट्टा विमलादित्य ने कहा कि हमने शवों को प्राप्त करने के लिए सभी आवश्यक व्यवस्थाएं पहले ही कर ली थी.
केरल और तमिलनाडु के हैं ज्यादातर मृतक
डीआईजी ने कहा कि हमने पीड़ितों के परिवार के सदस्यों के साथ समन्वय किया है. शव प्राप्त होने के बाद उन्हें उचित तरीके से संबंधित स्थानों पर ले जाया जाएगा. मालूम हो कि 23 शव केरल के हैं, 7 तमिलनाडु के और एक कर्नाटक का है. प्रत्येक शव के लिए एक समर्पित वाहन उपलब्ध कराया गया है.
एयरपोर्ट पहुंचे केरल के मंत्री
उधर, केरल के राजस्व मंत्री के. राजन कोचीन अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंचे, जहां कुवैत में आग की घटना में 45 भारतीयों के पार्थिव शरीर को लेकर भारतीय वायुसेना का विशेष विमान पहुंचा.
#WATCH | Ernakulam: Special IAF aircraft carrying the mortal remains of 45 Indian victims in the fire incident in Kuwait reaches Cochin International Airport.
(Source: CIAL) pic.twitter.com/UKhlUROaP7
— ANI (@ANI) June 14, 2024
भारत सरकार करेगी हर संभव मददः सुरेश गोपी
केंद्रीय मंत्री सुरेश गोपी भी कोच्चि एयरपोर्ट पहुंचे हैं. उन्होंने कहा कि यह त्रासदी इतनी बड़ी है कि यह प्रवासी समुदाय पर आघात है. उन्होंने कहा कि इन्हीं लोगों ने केरल की आर्थिक स्थिति को बेहतर बनाने में मदद की. व्यक्तिगत क्षति हर घर की है, जो इस त्रासदी से प्रभावित हुए है. सुरेश गोपी ने कहा कि भारत सरकार उचित कार्रवाई और निर्णय लेगी और उचित राहत प्रदान करेगी.
#WATCH | Ernakulam: Union Minister Suresh Gopi says, "The tragedy is so voluminous and impactful, that it is a thud on the 'pravaasi' community, which helped the economic situation in Kerala… The state and the country have very high regard for the 'pravaasi' community and it is… https://t.co/TV1OMN3Hxy pic.twitter.com/VVpDjLDZwG
— ANI (@ANI) June 14, 2024
इमारत में आग लगने से हुई थी 45 भारतीयों की मौत
मालूम हो कि कुवैत के अहमदी प्रांत के दक्षिणी मंगाफ की एक इमारत में भीषम आग लगी थी. इस हादसे में 49 लोगों की मौत हो गई थी. इसमें 45 भारतीयों की जान गई चली गई थी, जिनके शव अब भारत लाए गए.