Pakistan: पूर्व PM इमरान खान ने अदालत में दाखिल की याचिका, की रिहाई की मांग

Ved Prakash Sharma
Reporter The Printlines (Part of Bharat Express News Network)

Pakistan: एक जवाबदेही अदालत में पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने याचिका दायर की है. इस याचिका में उन्होंने 19 करोड़ पाउंड के भ्रष्टाचार मामले में अपनी रिहाई की मांग की है. इमरान खान का कहना है कि उनके खिलाफ जो मामले चल रहे हैं, वे नए संशोधित भ्रष्टाचार रोधी कानून के दायरे में आते हैं. इन कानूनों की उन्होंने पहले आलोचना की थी.

मालूम हो कि पूर्व पीएम इमरान खान पिछले वर्ष अगस्त से रावलपिंडी की अदियाला जेल में बंद हैं. उन्होंने उन कानूनों के संशोधन को चुनौती थी, जो 2022 में पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट (पीडीएम) सरकार द्वारा लागू किए गए थे. ये संशोधन पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के नेतृत्व वाली सरकार में पेश किए गए थे. हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने सितंबर 2023 में इन संशोधन को रद्द कर दिया था, लेकिन हाल ही में इन संशोधनों को शुक्रवार को फिर से बहाल कर दिया.

संशोधित कानूनों के तहत राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो (एनएनबी) के कानून में कई बदलाव किए गए थे, जैसे कि एनएबी के प्रमुख और अभियोजक की अवधि तीन साल तक सीमित कर दी गई. इसके अलावा, एनएबी अब केवल उन मामलों की जांच कर सकता है, जिनमें 50 करोड़ रुपये से अधिक का लेन-देन हो. सभी लंबित जांच और मुकदमे संबंधित विभागों को सौंप दिए गए थे.

पूर्व पीएम की कानूनी टीम ने दावा किया कि संशोधित कानून ने संघीय मंत्रिमंडल द्वारा लिए गए फैसलों का बचाव किया है. उन्होंने कहा कि एनएबी ने राजनीतिक बदले की भावना के कारण उनके और अन्य आरोपियों के खिलाफ कार्यवाही शुरू की.

याचिका में यह भी आरोप लगाया गया कि एनएबी ने जानबूझकर झूठे आरोप लगाए और कहा कि इमरान खान ने तीन सितंबर 2019 को एक मंत्रिमंडल की अध्यक्षता की थी, जिसमें एक गोपनीय समझौते को मंजूरी दी गई. एनएबी का आरोप है कि खान ने अपनी शक्तियों का गलत इस्तेमाल कर अल-कादिर विश्वविद्यालय ट्रस्ट के नाम पर भूखंड और 28.5 करोड़ रुपये हासिल किए.

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