बॉलीवुड में बनी इस फिल्म में थे 72 गाने, क्या आप जानते हैं उसका नाम? इस रिकॉर्ड को कोई नहीं तोड़ पाया

Abhinav Tripathi
Sub Editor, The Printlines (Part of Bharat Express News Network)

Amazing Movie: बात हिंदी फिल्मों की हो और उसमें गाने का जिक्र ना किया जाए ये कैसे हो सकता है. हर हिंदी फिल्म में अमूमन गाना होता है. गानों के बिना हिन्दी फिल्मों की कल्पना थोड़ी मुश्किल है. आज भी कुछ ऐसी फिल्में बनती हैं जिसमें चार, पांच, आठ या नौ गाने होते हैं. इन फिल्म के बारे में लोगों का कहना होता है कि ये फिल्म कम और गानों का एल्बम ज्यादा है, लेकिन हम आपसे कहें कि एक ऐसी भी हिन्दी फिल्म बनाई गई थी जिसमें पूरे 72 गाने थे. इस फिल्म की लेंथ करीब साढ़े तीन घंटे के आसपास थी. इस फिल्म का नाम ‘इंद्र सभा’ था.

दो बार किया गया था फिल्म का निर्माण

जानकारी दें कि ‘इंद्र सभा’ बॉलीवुड के इतिहास में दो बार बन चुकी है. पहली बार इस फिल्म को 1925 रिलीज किया गया था. उस दौरान इस फिल्म को मणिलाल जोशी ने बनाया था. उस वक्त दौर अबोली फिल्में यानी कि मूक फिल्मों का हुआ करता था. उस समय बनी इस फिल्म को केवल देखा जा सकता था, सुना नहीं जा सकता था. उस समय बनी फिल्मों में किसी भी तरीके के म्यूजिक या डायलॉग की गुंजाइश नहीं थी.

बाद में 1932 के दौर में बोलती फिल्मों का दौर आया. इस समय जेएफ मदन की कंपनी मदन थिएटर ने फिर से ‘इंद्र सभा’ फिल्म को बनाया. ये पहली साउंड वाली फिल्म थी. इस फिल्म में 72 गाने डाले गए. हालांकि आपको जानना चाहिए कि बॉलीवुड की पहली टॉकी फिल्म ‘आलम आरा’ है. साउंड के साथ रिलीज होने वाली पहली फिल्म इंद्र सभा ही थी.

इस गायिका की आवाज का चला का जादू

1932 में बनी पहली साउंड वाली फिल्म ‘इंद्र सभा’ में मदन थियेटर ने 72 गाने डाले. इन गानों को आवाज दी जहानारा कज्जन ने. उस दौर में जहानारा कज्जन को बंगाल की नाइटिंगेल के नाम से भी जाना जाता था. फिल्म में 9 ठुमरी, होली के 4 गाने, 15 गीत, 31 किस्म की गजलें, 2 चौबोला, 5 छन्द गीत और 5 नॉर्मल गाने थे. 8 सालों बाद इस फिल्म को 100 साल पूरे हो जाएंगे. खास बात यह है कि 1932 में रिलीज हुई इस फिल्म का रिकॉर्ड कोई अन्य फिल्म ने नहीं तोड़ पाई.

यह भी पढ़ें: Supreme Court ने सामुदायिक रसोई चलाने का आदेश देने से किया इनकार, कहा- पहले से चल रही हैं तमाम योजनाएं

More Articles Like This

Exit mobile version