Gujarat Chandipura Virus: गुजरात में चांदीपुरा वायरस के मामले तेजी से बढ़ते जा रहे हैं. इस खतरनाक बीमारी ने अब तक 16 बच्चों की जान ले ली है. वहीं, 29 लोग संक्रमित हैं. देशभर में चांदीपुरा वायरस को लेकर डर का माहौल बना हुआ है. लगातार बढ़ते मामलों को देखते हुए कई राज्य हाई अलर्ट पर हैं. ऐसे में आइए आपको विस्तार से बताते हैं इस खतरनाक बीमारी के लक्षण और बचाव…
क्यों खतरनाक है चांदीपुरा वायरस?
चांदीपुरा वायरस रबडोविरिडे फैमिली से संबंधित एक अर्बोवायरस है. ये एक संक्रामक बीमारी है, जो फ्लेबोटोमाइन मक्खी के काटने से फैलता है. इसके फैलने के पीछे मच्छर में पाए जाने वाले एडीज भी जिम्मेदार हैं. ये वायरस सेंट्रल नर्वस सिस्टम को संक्रमित करता है. साथ ही शरीर के अन्य प्रणालियों को भी प्रभावित करता है.
क्या हैं चांदीपुरा वायरस के लक्षण
- सिरदर्द
- शरीर में दर्द
- ब्लीडिंग
- एनीमिया
- बुखार
- सांस लेने में कठिनाई
शरीर में ये लक्षण दिखने पर तुंरत इलाज करवाएं. अगर सही समय पर इलाज नहीं कराया गया, तो व्यक्ति कोमा में जा सकता है या उसकी मौत हो सकती है.
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कैसे करें बचाव
- चांदीपुरा वायरस के इलाज के लिए अब तक कोई एंटीरेट्रोवाइरल दवा या वैक्सीनेशन मौजूद नहीं है. इसलिए बचाव करना बेहद जरूरी है.
- इस खतरनाक बीमारी से बचने के लिए कीटनाशक का इस्तेमाल करें.
- सोते समय मच्छरदानी लगाकर सोएं.
- अपने आसपास गंदगी जमा न होने दें.
- मक्खी और मच्छरों से बचने के लिए फुल आस्तीन के कपड़े पहनें.
- खुले में शौच करने से बचें.