Hitesh Jain Slams Congress Party: सोमवार (11 नवंबर) को जस्टिस संजीव खन्ना (Justice Sanjeev Khanna) ने देश के 51वें सीजेआई के तौर पर शपथ ली. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने उन्हें शपथ दिलाई. राष्ट्रपति भवन के अशोक हॉल में संजीव खन्ना ने शपथ ली. इस दौरान समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सहित कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे. उनके शपथ ग्रहण को परिणाम लॉ एसोसिएट्स के मैनेजिंग पार्टनर एवं भाजपा मुंबई प्रदेश के वाइस प्रेसिडेंट हितेश जैन ने न्याय का एक ‘गौरवपूर्ण’ और ‘काव्यात्मक’ लम्हा बताया.
हितेश जैन ने न्यायमूर्ति संजीव खन्ना की प्रशंसा की
सोशल मीडिया मंच X.com पर हितेश जैन ने न्यायमूर्ति संजीव खन्ना की प्रशंसा की. उन्होंने लिखा, ‘सीजेआई खन्ना न केवल एक प्रतिष्ठित न्यायविद हैं, बल्कि उनकी नियुक्ति उनके चाचा, दिवंगत न्यायमूर्ति खन्ना द्वारा किए गए बलिदानों का प्रतिशोध भी है.’ हितेश जैन ने लिखा, “न्यायमूर्ति संजीव खन्ना को मुख्य न्यायाधीश बनने का मौका सिर्फ एक कारण से नहीं मिला. वे कांग्रेस के सबसे काले दौर – 1975-1977 के आपातकाल के खिलाफ खड़े होने की हिम्मत रखने वाले अकेले व्यक्ति थे. तब एक ऐसा दमनकारी शासन था, जिसने इंदिरा गांधी की अगुवाई में असहमति और लोकतंत्र को कुचल दिया. मगर फिर भी, आज हम यहां राहुल गांधी के साथ हैं, जो हमारे संविधान के “रक्षक” होने का दावा करते हैं. यह वही कांग्रेस है, जिसने सत्ता का दुरुपयोग किया, अपनी मर्जी के मुताबिक संविधान को बदला और भारत के लोकतांत्रिक सिद्धांतों के साथ खड़े होने की हिम्मत करने वालों को दंडित किया.”
आज संविधान की रक्षा करने का कांग्रेस का आह्वान हास्यास्पद है- हितेश जैन
हितेश जैन ने आगे लिखा, “आज संविधान की रक्षा करने का कांग्रेस का आह्वान हास्यास्पद है. इतिहास गवाह है कि अगर उन्हें मौका मिला तो वे इसे सबसे पहले तहस-नहस करेंगे. जस्टिस खन्ना की कहानी याद दिलाती है कि कांग्रेस पार्टी का डीएनए लोकतंत्र में नहीं, बल्कि तानाशाही में निहित है. आज हमें कांग्रेस की तानाशाही के खिलाफ साहस जस्टिस खन्ना की विरासत को भी याद करना चाहिए. हमें यह कभी नहीं भूलना चाहिए कि किसने हमारे संविधान को नष्ट करने की कोशिश की और किसने इसकी रक्षा की.”