भारत को “प्रिंस माइकल डिकेड ऑफ एक्शन रोड सेफ्टी अवार्ड” से किया गया सम्मानित

Shivam
Reporter The Printlines (Part of Bharat Express News Network)

भारत सरकार को पिछले दशक में वाहन सुरक्षा में उल्लेखनीय सुधार के लिए प्रतिष्ठित प्रिंस माइकल डिकेड ऑफ एक्शन रोड सेफ्टी अवार्ड से सम्मानित किया गया है. यह सम्मान भारत द्वारा पिछले दस वर्षों में वाहन सुरक्षा मानकों में सुधार के लिए किए गए प्रयासों को मान्यता देता है. इस उपलब्धि को माराकेच में सड़क सुरक्षा पर चौथे मंत्रिस्तरीय सम्मेलन में मान्यता दी गई, जहाँ दुनिया भर के नेता 2030 तक वैश्विक सड़क दुर्घटनाओं में 50 प्रतिशत की कमी लाने की रणनीति बनाने के लिए एकत्र हुए थे.

मुख्य उपलब्धियां:

  • नई कार सुरक्षा मूल्यांकन योजना की शुरुआत
  • सभी नए दोपहिया वाहनों में एंटी-लॉक ब्रेकिंग सिस्टम (ABS) को अनिवार्य करना

मोरक्को भी सम्मानित

भारत के साथ-साथ मोरक्को को भी सड़क सुरक्षा में योगदान के लिए इस पुरस्कार से सम्मानित किया गया.

4th Ministerial Conference on Road Safety में पुरस्कार प्रदान

यह पुरस्कार माराकेश (मोरक्को) में आयोजित 4th Ministerial Conference on Road Safety में दिया गया, जहां विभिन्न देशों के परिवहन मंत्रियों ने 2030 तक वैश्विक सड़क दुर्घटनाओं को 50 प्रतिशत तक कम करने की रणनीति पर चर्चा की.

भारत की सड़क सुरक्षा प्रतिबद्धता

केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग राज्य मंत्री अजय टम्टा ने WHO के एटिएन क्रुग से यह सम्मान प्राप्त किया. 2014 के बाद से भारत में वाहन सुरक्षा नीतियों में बड़े बदलाव हुए, जब स्वतंत्र क्रैश टेस्ट के नतीजों के बाद सरकार ने वाहन सुरक्षा मानकों को यूरोपीय स्तर तक लाने की योजना बनाई.

भारत में सड़क सुरक्षा की मौजूदा स्थिति

  • 2023 में सड़क दुर्घटनाओं में 1,73,000 लोगों की मौत
  • भारत में अधिकतर सड़क दुर्घटनाओं में पैदल यात्रियों और दोपहिया वाहन चालकों की मृत्यु होती है, जो विकसित देशों से अलग स्थिति दर्शाती है.
  • सरकार 2030 तक सड़क हादसों में 50% की कमी लाने के लिए प्रतिबद्ध है.

वैश्विक सड़क सुरक्षा के लिए सामूहिक प्रयास

  • माराकेश सम्मेलन में विभिन्न देशों के परिवहन नेताओं ने वैश्विक सड़क सुरक्षा में सुधार के लिए एक रणनीतिक योजना विकसित करने पर चर्चा की.
  • भारत का यह सम्मान वैश्विक मंच पर देश के सड़क सुरक्षा प्रयासों की बड़ी उपलब्धि है.

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