Gorakhpur News: आने वाले समय में भारत दुनिया में मेडिकल टूरिज्म का हब बनने जा रहा है. मेडिकल टूरिज्म, अन्य प्रकार के टूरिज्म की तुलना में अधिक व्यापक और महत्वपूर्ण है. इसके लिए पूरी क्षमता से तैयारी करनी होगी और सभी को अपनी-अपनी भूमिका सुनिश्चित करनी होगी. उक्त बातें मुख्यमंत्री एवं महायोगी गोरखनाथ विश्वविद्यालय के कुलाधिपति योगी आदित्यनाथ ने शनिवार की शाम महायोगी गोरखनाथ विश्वविद्यालय के श्रीगोरक्षनाथ मेडिकल कालेज हास्पिटल एंड रिसर्च में एमबीबीएस प्रथम बैच के विद्यार्थियों से संवाद के दौरान कही.
सीएम योगी ने सभी विद्यार्थियों से परिचय प्राप्त करने के बाद उन्हें श्रेष्ठ चिकित्सक बनने का आशीर्वाद देते हुए कहा, 140 करोड़ भारतवासियों के स्वास्थ्य रक्षा के लिए हमें किसी पर निर्भर न रहना पड़े, इसके लिए बनाई जा रही व्यवस्था के आप सभी नींव बनें. इसके लिए सरकार और संस्थाएं बेहतरीन इंफ्रास्ट्रक्चर तो दे देंगी लेकिन ईमानदारी से परिश्रम आपको ही करना होगा. सफलता के लिए शार्टकट न अपनाएं. यह ध्यान रखें कि परिश्रम, निष्ठा और अनुभव का कोई विकल्प नहीं होता. सीएम योगी ने विद्यार्थियों को स्वयं के करियर के साथ सेवा भाव से जुड़े रहने की भी सीख दी. साधना से सिद्धि का मंत्र देते हुए साधनापरक जीवन जीने के लिए प्रेरित किया.
महर्षि सुश्रुत ने की थी दुनिया की पहली सर्जरी
सीएम योगी ने एमबीबीएस विद्यार्थियों से कहा, सरकार ने कारोबारी और निवेश सुगमता के साथ शिक्षा और स्वास्थ्य को सरल बनाने के लिए सरकार ने सभी दरवाजे खोल दिए हैं. शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में भारत की मजबूत विरासत से विद्यार्थियों को परिचित कराते हुए योगी ने कहा कि दुनिया को सबसे पहला विश्वविद्यालय हमने दिया था. दुनिया की पहली सर्जरी महर्षि सुश्रुत ने की थी. दुनिया के सबसे पहले कानूनविद मनु थे। शिक्षा, स्वास्थ्य, ज्योतिष और गणित के क्षेत्र में भारत दुनिया का नेतृत्व करता रहा है. नई पीढ़ी कि यह जिम्मेदारी है कि वह आधुनिक परिवेश में अत्याधुनिक तकनीकी से जुड़कर अपनी समृद्ध परंपरा को आगे बढ़ाए.
दवा देने के साथ सभी को मरीजों की दुआ भी लेनी चाहिए
सीएम योगी ने कहा, चिकित्सा शिक्षा को तकनीक से जोड़ना समय की मांग है. यदि हमने इसे नजरअंदाज किया तो पीछे रह जाएंगे. आज जरूरी यह है कि हर डाक्टर शोधकर्ता बने. तकनीक व अनुभव के आधार पर स्वास्थ्य सेवा को और बेहतर बनाएं. सीएम योगी ने संवाद के दौरान विद्यार्थियों को भविष्य में उत्कृष्ट चिकित्सक बनने के मंत्र भी दिए. सीएम ने कहा, दवा देने के साथ सभी को मरीजों की दुआ भी लेनी चाहिए. इसके लिए मरीजों से अच्छा व्यवहार करना चाहिए. चिकित्सा के दौरान तनाव से दूर रहिए. उन्होंने विद्यार्थियों से कहा, आप सभी भविष्य के चिकित्सक हैं.
18 प्रांतों के विद्यार्थी लघु भारत का दृश्य कर रहे हैं प्रस्तुत
उन्होंने कहा कि आप एलोपैथी, आयुर्वेद, होम्योपैथी, यूनानी, सिद्धा, योग आदि सभी विधाओं को मिलाकर नई भारतीय चिकित्सा पद्धति का स्वरूप तय करें. सीएम योगी ने कहा, इस विश्वविद्यालय के मेडिकल कालेज में देश के 18 प्रांतों के विद्यार्थी लघु भारत का दृश्य प्रस्तुत कर रहे हैं. सभी गोरक्षपीठ के इस गुरुकुल के परिवारिक सदस्य बनकर लंबी यात्रा की तैयारी करें. सहज और सरल जीवन व्यतीत करते हुए हर चुनौती का सामना करने को तैयार रहें.