dharam karam

ध्यान, ज्ञान, भक्ति के तेज से भगवान का होता है दर्शन: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, भागवत में तीन शब्द है- तेजो, वारि, मृदां,। भगवान तीन रूपों में ही मिले। अठारह हजार श्लोकों वाली इस भागवत में भगवान तीन तरह से मिले। 1-तेजो÷ अपने साधना के तेज...

सत्संग भजन से ही सुंदर बनती है आत्मा: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, शरीर को सुंदर बनाना अलग बात है, पर आत्मा को सुंदर बनाना अति उत्तम बात है। आत्मा सत्संग भजन से ही सुंदर बनती है। जैसे लोग कहते हैं कमाना जरुरी...

भगवान की आराधना के बिना व्यर्थ है आपका जीवन: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, शवहस्तेन भोजनम्- श्रीमद्भागवत महापुराण में लिखा है कि धुंधकारी मुर्दे के हाथ से भोजन करता था. जिस हाथ से सूर्य को जल नहीं चढ़ता, शिव का अभिषेक नहीं होता, भगवान...

भगवान राधा-कृष्ण के रूप में हम करते हैं ज्योत का दर्शन: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, एकज्जोति दिधाभूत राधामाधव रूपकं।। एक ही ज्योत दो रूपों में प्रकट हो जाती है जिनका हम भगवान राधा-कृष्ण के रूप में दर्शन करते हैं। नाम संकीर्तनं यस्य- जिन भगवान के...

कथा सुनने से भगवान में बढ़ जाता है आकर्षण: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, शिशुपाल रुक्मी का मित्र था, इसलिए रुक्मी का आकर्षण शिशुपाल की तरफ था।श्रीरुक्मणि देवी का आकर्षण भगवान की तरफ था, करण बचपन से उन्होंने देवर्षि नारद जी से भगवान की...

पापी से पापी व्यक्ति का भी भगवान करते हैं कल्याण: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, पापी व्यक्ति से भगवान घृणा नहीं करते, पापी से पापी व्यक्ति भी भगवान की शरण में चला जाये, भगवान उसका कल्याण करते हैं. लेकिन, अभिमानी व्यक्ति प्रभु को अच्छा नहीं...

प्रकाश पुंज के समान है परमात्मा का स्वरूप: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, भगवान श्री कृष्ण का प्राकट्य वसुदेव देवकी के सामने हुआ। ऐसा लगा कि एक साथ करोड़ों सूर्य का उदय हो गया। ऐसा दिव्य प्रकाश हो रहा था, श्रीमद्भागवत महापुराण में...

मिश्रित कर्म से मानव जीवन और मृत्यु लोक की होती है प्राप्ति: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, पुण्य से स्वर्ग मिलता है, बहुत पाप से नरक मिलता है, मिश्रित कर्म से मानव जीवन और मृत्यु लोक की प्राप्ति होती है। राजा बलि ने अपने गुरु शुक्राचार्य की...

पतिव्रता और सती माता के इतिहास से भरा है राजस्थान का इतिहास: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, विदुर चरित- भगवान श्री कृष्ण का शांति दूत बनकर हस्तिनापुर पधारना, दुर्योधन ने भगवान से कहा तेरह वर्षों में हमने बहुत शक्ति अर्जित किया है, पांडव हमारा सामना नहीं कर...

शाश्वत परमात्मा की तरफ चलने से व्यक्ति का जीवन हो जाता है सफल: दिव्य मोरारी बापू

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, भगवान सच्चिदानंद है। सूर्य, चंद्र, तारामंडल अनेकों बार बना और मिटा, लेकिन परमात्मा कभी नहीं मिटते, इसलिए परमात्मा को सत कहते हैं। संसार इस चेतन से चल रहा है जैसे-...
- Advertisement -spot_img

Latest News

मनुष्य के जीवन में जन्म के साथ ही शुरू हो जाता संघर्ष: दिव्य मोरारी बापू 

Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, इस जीवन का नाम ही संघर्ष है। मनुष्य जन्मता...
- Advertisement -spot_img