बांग्लादेश में नहीं थम रहा हिंदूओं पर हमला, विरोध प्रदर्शन करने सड़कों पर उतरे अल्पसंख्यक

Abhinav Tripathi
Sub Editor, The Printlines (Part of Bharat Express News Network)

Bangladesh Hindu Minority: बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिंदूओं पर हमले रूक नहीं लगे हैं. अपने ऊपर हो रहे हमले और उत्पीड़न से परेशान होकर इस समुदाय के लोग सड़कों पर उतर रहे हैं. बांग्लादेश में हिंदू समुदाय के लोगों ने रैली निकाल कर अंतरिम सरकार से सिलसिलेवार हमलों व उत्पीड़न से सुरक्षा देने की गुहार लगाई है.

दरअसल, लगभग 30,000 हिंदुओं ने दक्षिण-पूर्वी शहर चटगांव के एक प्रमुख चौराहे पर रैली करते हुए नारे लगाए. इसी के साथ देश में अन्य जगहों पर भी विरोध प्रदर्शन होने की सूचना मिली है.
अल्पसंख्यकों के खिलाफ हो रहे हमले

बांग्लादेश के अल्पसंख्य समुदाय के हिंदू परिवारों का कहना है कि अगस्त की शुरुआत में पीएम शेख हसीना की धर्मनिरपेक्ष सरकार के बेदखल होने और हसीना के देश छोड़कर चले जाने के बाद हिंदुओं के खिलाफ हजारों हमले हुए हैं. शेख हसीना की सरकार के जाने के बाद नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व में अंतरिम सरकार का गठन किया गया था. हालांकि, नई अंतरिम सरकार में अल्पसंख्यक समुदाय खुद को सुरक्षित महसूस नहीं कर रहा है.

जानिए बांग्लादेश में कितने हिंदू?

आंकड़ों पर नजर डालें तो बांग्लादेश में हिंदूओं की आबादी करीब 1 करोड़ 70 लाख के आसपास है. जो कुल आबादी का आठ प्रतिशत है. वहीं, बांग्लादेश में 91 फिसदी आबादी मुस्लिमों की है. देश के प्रभावशाली अल्पसंख्यक समूह ‘बांग्लादेश हिंदू बौद्ध ईसाई यूनिटी काउंसिल’ ने कहा है कि चार अगस्त के बाद से हिंदुओं पर 2,000 से अधिक हमले हुए हैं. बांग्लादेश के हिंदू और अन्य अल्पसंख्यक समाज के लोगों का कहना है कि अंतरिम सरकार ने उनकी पर्याप्त सुरक्षा नहीं की है और हसीना के जाने के बाद कट्टरपंथी इस्लामवादी तेजी से प्रभावशाली होते जा रहे हैं.

शहर में 25 अक्टूबर की रैली को लेकर प्रमुख पुजारी चंदन कुमार धर समेत 19 हिंदू नेताओं के खिलाफ बुधवार को राजद्रोह के आरोप में मामला दर्ज किया गया था. इसके खिलाफ शुक्रवार को चटगांव में विरोध प्रदर्शन आयोजित किया गया. इस आयोजन में से दो नेताओं को गिरफ्तार कर लिया गया. जिससे हिंदू समुदाय के लोगों में खासा नाराजगी है.

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