Bangladesh: बांग्लादेश की पूर्व पीएम शेख हसीना की मुश्किलें लगातार बढ़ती जा रही हैं. देश में नौकरी के लिए आरक्षण व्यवस्था को लेकर भड़की हिंसा के दौरान दो लोगों की मौत के मामले में शेख हसीना के खिलाफ हत्या के दो नए केस दर्ज किए गए है. पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के साथ-साथ उनकी सरकार के पूर्व मंत्रियों के खिलाफ भी केस दर्ज किए गए है. 76 वर्षीय शेख हसीना के खिलाफ दर्ज मामलों की सीरीज में यह ताजा केस है. इन मामलों को लेकर शेख हसीना के खिलाफ अब तक 15 मामले दर्ज किए जा चुके हैं. मालूम हो कि आरक्षण को लेकर छात्रों के विरोध प्रदर्शन के बाद शेख हसीना ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया था और देश छोड़कर भारत आ गई थी. वह अभी भी भारत में ही हैं.
हसीना के खिलाफ दो नए मामले दर्ज
सरकारी न्यूज एजेंसी बीएसएस की खबर के मुताबिक, मीरपुर इलाके में लिटन हसन लालू उर्फ हसन और शेर-ए-बांग्ला नगर इलाके में तारिक हुसैन की हत्या मामले में शेख हसीना पर दोष लगाया गया है. उनके खिलाफ अलग-अलग मामले दर्ज किए गए हैं. लिटन के भाई ने ढाका मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट मेंहदी हसन की कोर्ट में शेख हसीना, पूर्व गृह मंत्री असदुज्जमां खान कमाल, पूर्व पुलिस महानिरीक्षक (आईजीपी) अब्दुल्ला अल मामून और अन्य सहित 148 लोगों के खिलाफ केसा दर्ज कराया है.
जुलूस के दौरान अवामी लीग ने लोगों पर कराई थी फायरिंग
मामले के दस्तावेजों के मुताबिक, लिटन 4 अगस्त को मीरपुर में छात्र आंदोलन के दौरान एक शांतिपूर्ण जुलूस में शामिल हुआ था. दोपहर करीब दो बजे शेख हसीना की पार्टी के लोगों ने जुलूस पर अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी, जिससे हसन घायल हो गया और बाद में उसकी जान चली गई. इस बीच, तारिक की मां फिदुशी खातून ने पूर्व पीएम हसीना, पूर्व गृह मंत्री कमाल, पूर्व सड़क, परिवहन एवं पुल मंत्री ओबैदुल कादर, पूर्व विदेश मंत्री हसन महमूद और सूचना एवं प्रसारण राज्य मंत्री मोहम्मद अली अराफात समेत 13 लोगों के खिलाफ एक और मामला दर्ज कराया है.
पूर्व पीएम पर अब तक 15 मामले
रिपोर्ट के मुताबिक, तारिक हुसैन को 5 अगस्त को शेर-ए-बांग्ला नगर पुलिस थाने के सामने अज्ञात बदमाशों ने गोली मार दी थी जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया था. नौ अगस्त को उसकी मौत हो गई. ढाका ट्रिब्यून अखबार की खबर के मुताबिक, रविवार देर रात मोहम्मद मिलन की पत्नी शहनाज बेगम ने एक और हत्या का केस दर्ज कराया.
मिलन की 21 जुलाई को स्थानीय मछली बाजार से घर वापस आते समय गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. इस मामले में पूर्व पीएम हसीना, पूर्व सड़क परिवहन और पुल मंत्री कादर, पूर्व गृह मंत्री असदुज्जमां खान और पूर्व विधायक शमीम उस्मान समेत 62 लोगों को आरोपी बनाया गया है. वहीं अब हसीना के खिलाफ कुल दर्ज मामलों की संख्या बढ़कर पंद्रह हो गई है.
शेख हसीना और पार्टी नेताओं पर फायरिंग का आरोप
खबर के अनुसार, शेख हसीना की पार्टी अवामी लीग और उसके सहयोगी संगठनों के नेताओं एवं कार्यकर्ताओं ने आग्नेयास्त्रों और लाठियों के इस्तेमाल से छात्र आंदोलन में व्यवधान डालने के लिए ढाका-चटगांव राजमार्ग पर यातायात में बाधा डाली थी. आरोप है कि पूर्व पीएम हसीना, कादर और असदुज्जमां ने प्रदर्शनकारी छात्रों और आम लोगों पर फायरिंग और हमला करने का आदेश दिया. साथ ही खबर में यह भी कहा गया है कि उस समय मछली बाजार से घर लौट रहे मिलन के सीने में गोली लगी, जिससे वह सड़क पर गिर पड़ा. जब उसे अस्पताल ले जाया गया तो डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया.
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