China Tibet Issue: चीन की शी जिनपिंग सरकार को सबक सिखाने के लिए तिब्बत की निर्वासित सरकार ने एक नया प्लान बनाया है. इस प्लान के तहत जिस प्रकार चीन तिब्बती इलाकों का नाम बदलकर नया नक्शा जारी कर रही है, वैसे ही अब निर्वासित सरकार भी तिब्बत का नया नक्शा तैयार करेगी.
एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, चीन ने तिब्बत में कई प्रमुख स्थानों के नाम बदल दिए है. चीन ऐसा इसलिए कर रहा है, क्योंकि उसे लगता है कि नए नामों के इस्तेमाल से लोग पुराने तिब्बत को भूल जाएंगे. लेकिन निर्वासित तिब्बती सरकार ने भी अब चीन की इस रणनीति का तोड़ खोज निकाला है.
नक्शा तैयार करने में लगेगा इतना समय
सूत्रों के मुताबिक, निर्वासित तिब्बती सरकार का केंद्रीय प्रशासन ऐतिहासिक अभिलेखों के आधार पर तिब्बत का नक्शा तैयार करेगा, जिसके लिए अभी काफी वक्त लग सकता है. वहीं, केंद्रीय तिब्बती प्रशासन के अध्यक्ष पेंपा त्सेरिंग सिक्योंग का कहना है कि हम तिब्बती नामों के साथ एक नक्शा तैयार करेंगे, जिसपर काम शुरू हो चुका है, जिसे पूरा होने में छह महीने से लेकर एक साल तक का समय लग सकता है.
वहीं, तिब्बती युवा कांग्रेस के अध्यक्ष गोम्पो धोंडुप ने कहा कि चीन के दुष्प्रचार का मुकाबला करने और न्याय के लिए लड़ने के लिए यह सही मौका है. हमें इसकी सराहना करनी चाहिए. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि चीन के निराधार दावे खारिज करने के लिए नया नक्शा लाया जाएगा, जो चीनी आक्रामकता का मुकाबला करने के लिए एक बेहद ही मजबूत संदेश होगा.
भारत के इलाकों का नाम बदल चुका है चीन
आपको बता दें कि चीन की शी जिनपिंग सरकार भारत के भी कई इलाकों के नाम बदल चुकी है, हालांकि भारत सरकार ने कई बार मुंहतोड़ जवाब भी दिया. अभी हाल ही में उसने अरुणाचल प्रदेश को अपना हिस्सा बताकर वहां की 30 जगहों के नाम बदल दिए हैं. जिनमें 11 रिहायशी इलाके, 12 पर्वत, 4 नदियां, एक तालाब और एक पहाड़ों से निकलने वाला रास्ता शामिल था.
ये भी पढ़ें :-Pakistan: इमरान खान की पार्टी पर कार्रवाई तेज, IT सेल के चार सदस्यों को खुफिया एजेंसियों ने लिया हिरासत में