Immigration Crackdown: अमेरिका में डोनाल्ड ट्रंप के इस फैसले पर कोर्ट ने लगाया ब्रेक, दिया ये निर्देश

Aarti Kushwaha
Reporter The Printlines (Part of Bharat Express News Network)

Donald Trump: अमेरिका की एक अपील अदालत ने राष्ट्रपति ट्रंप के आव्रजन और अवैध सीमा पारगमन पर रिपब्लिकन की कठोर कार्रवाई के हिस्से के रूप में राष्ट्रव्यापी स्वत: जन्मसिद्ध नागरिकता में कटौती करने से रोकने वाले आदेश को बरकरार रखा.

सैन फ्रांसिस्को स्थित 9वें यूएस सर्किट कोर्ट ऑफ अपील्स ने सिएटल में एक संघीय न्यायाधीश द्वारा राष्ट्रपति के कार्यकारी आदेश को अवरुद्ध करने वाले राष्ट्रव्यापी निषेधाज्ञा पर रोक लगाने के लिए एक आपातकालीन आदेश के लिए लिए ट्रंप प्रशासन के अनुरोध को खारिज कर दिया.

सुप्रीम कोर्ट करेगा जन्‍मजात नागरिकता पर विचार

बता दें कि यह पहली बार है कि किसी अपीलीय अदालत ने जन्मजात नागरिकता पर ट्रंप के कार्यकारी आदेश पर विचार किया था, जिसके भाग्य का फैसला अंततः अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट द्वारा किया जा सकता है. वहीं, मैरीलैंड, मैसाचुसेट्स और न्यू हैम्पशायर के न्यायाधीशों ने भी इसे रोक दिया है, और उनमें से दो मामलों में अपील पहले से ही चल रही है.

ट्रंप ने दिया था ये आदेश

दरअसल, 20 जनवरी को ट्रंप ने शपथ ग्रहण लेते ही इस कार्यकारी आदेश पर हस्ताक्षर किया था, जिसके तहत अमेरिकी एजेंसियों को निर्देश दिया गया कि वो संयुक्त राज्य अमेरिका में पैदा हुए बच्चों की नागरिकता को मान्यता देने से इनकार कर दें, अगर उनके माता या पिता अमेरिकी नागरिक या वैध स्थायी निवासी नहीं हैं.

रिपोर्ट के मुताबिक, ट्रंप के अमेरिकी न्याय विभाग ने 9वें सर्किट को गुरुवार तक सिएटल स्थित अमेरिकी जिला न्यायाधीश जॉन कॉघेनोर के फैसले पर रोक लगाने के लिए कहा था, जिसमें नीति को असंवैधानिक घोषित करते हुए कहा गया था कि वह चार डेमोक्रेटिक नेतृत्व वाले राज्यों के इशारे पर राष्ट्रव्यापी निषेधाज्ञा जारी करके बहुत दूर चले गए हैं, मगर तीन-न्यायाधीशों के पैनल ने ऐसा करने से इनकार कर दिया. साथ ही इस मामले की बहस के लिए जून महीने की तारीख निर्धारित कर दी.

डेनिएल फॉरेस्ट ने जताई सहमति

वहीं, अमेरिकी सर्किट न्यायाधीश डेनिएल फॉरेस्ट ने इसपर सहमति व्यक्त करते हुए कहा कि तेजी से फैसले से न्यायाधीशों में जनता के विश्वास को कम करने का जोखिम होगा, जिन्हें “विचारधारा या राजनीतिक प्राथमिकता से अलग अपने फैसले लेने चाहिए.

इसे भी पढें:-Earthquake: अंडमान सागर क्षेत्र में कांपी धरती, 5.2 रही भूकंप की तीव्रता

More Articles Like This

Exit mobile version