नेपाल में बारिश के बाद विनाशकारी बाढ़ और भूस्खलन का कहर जारी! अब तक 170 लोगों की मौत; कई हाइवे बंद

Shubham Tiwari
Sub Editor The Printlines (Part of Bharat Express News Network)

Floods and Landslides in Nepal: नेपाल में हुई मूसलाधार बारिश के बाद बाढ़ और भूस्खलन का कहर जारी है. पूर्वी और मध्य नेपाल के बड़े हिस्से जलमग्न हो गए हैं और देश के कई हिस्सों में अचानक बाढ़ आ गई है. बाढ़ और भूस्खलन के चलते देश भर में अबतक 170 लोगों की मौत हो चुकी है. वहीं, 56 जिलों में बारिश का अलर्ट जारी किया गया है. जबकि 42 लापता हैं. फिलहाल राहत और बचाव का कार्य जारी है.

4,000 लोगों को सुरक्षित निकाला

गृह मंत्रालय के प्रवक्ता ऋषिराम पोखरेल ने बताया कि बाढ़ से संबंधित घटनाओं में 111 लोग घायल हुए हैं. पोखरेल ने बताया कि सभी सुरक्षा एजेंसियों की मदद से खोज एवं बचाव अभियान जारी है. उन्होंने कहा कि नेपाली सेना ने देशभर में फंसे 162 लोगों को हवाई मार्ग से निकाला. बाढ़ और जलभराव से प्रभावित लगभग 4,000 लोगों को नेपाली सेना, नेपाल पुलिस और सशस्त्र पुलिस बल के जवानों ने बचाया है. उन्होंने बताया कि बचाए गए लोगों को खाद्यान्न सहित सभी आवश्यक राहत सामग्री वितरित की गई है,

कई नेशनल हाइवे हुए बंद

प्रवक्ता ऋषिराम पोखरेल ने बताया कि भूस्खलन के कारण शनिवार से ही राष्ट्रीय राजमार्ग बाधित हैं और सैकड़ों लोग विभिन्न राजमार्गों पर फंसे हुए हैं. बाढ़, भूस्खलन और जलभराव के कारण बाधित राष्ट्रीय राजमार्गों को खोलने के प्रयास किए जा रहे हैं. उन्होंने बताया कि काठमांडू को अन्य जिलों से जोड़ने वाले मुख्य भूमार्ग त्रिभुवन राजमार्ग पर यातायात फिर से शुरू हो गया है. अधिकारियों के मुताबिक, बाढ़ से नेपाल में कम से कम 322 घर और 16 पुल क्षतिग्रस्त हो गये हैं.

कभी नहीं देखी ऐसी बाढ़

इंटरनेशनल सेंटर फॉर इंटीग्रेटेड माउंटेन डेवलपमेंट (आईसीआईएमओडी) के जलवायु एवं पर्यावरण विशेषज्ञ अरुण भक्त श्रेष्ठ ने कहा, ‘‘मैंने काठमांडू में इस पैमाने पर बाढ़ पहले कभी नहीं देखी.’’ आईसीएमओडी द्वारा शनिवार को प्रकाशित एक रिपोर्ट में कहा गया कि काठमांडू की मुख्य नदी बागमती शुक्रवार और शनिवार को पूर्वी तथा मध्य नेपाल में मूसलाधार बारिश के बाद से खतरे के निशान से ऊपर बह रही है. इसमें कहा गया कि बंगाल की खाड़ी के ऊपर हवा के कम दबाव की स्थिति और मानसून के कारण शनिवार को असाधारण रूप से मूसलाधार बारिश हुई.

वहीं, वैज्ञानिकों का कहना है कि जलवायु परिवर्तन के कारण पूरे एशिया में वर्षा की मात्रा और समय में परिवर्तन हो रहा है, लेकिन बाढ़ के बढ़ते प्रभाव का एक प्रमुख कारण अनियोजित निर्माण जैसी मानव गतिविधियां हैं.

जनजीवन अस्त-व्यस्त

बाढ़ और भूस्खलन के कारण देश के कई भागों में जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. कई राजमार्ग और सड़कें बाधित हो गई हैं, सैकड़ों घर और पुल क्षतिग्रस्त हो गए हैं तथा सैकड़ों परिवारों को विस्थापित होना पड़ा है. सड़कों के बाधित होने की वजह से हजारों यात्री विभिन्न स्थानों पर फंसे हुए हैं. अधिकारियों ने बताया कि शनिवार को काठमांडू की सीमा से लगे धादिंग जिले में भूस्खलन में एक बस के दब जाने से कम से कम 19 लोगों की मौत हो गई. भक्तपुर शहर में भूस्खलन के कारण एक मकान ढह जाने से पांच लोगों की मौत हो गई.

फुटबॉल खिलाड़ियों की गई जान

मकवानपुर में ‘ऑल इंडिया नेपाल एसोसिएशन’ द्वारा संचालित एक प्रशिक्षण केंद्र में, भूस्खलन की घटना में छह फुटबॉल खिलाड़ियों की जान चली गई और अन्य लोग बाढ़ के पानी में बह गए. इस बीच मंगलवार तक बारिश जारी रहने के अनुमान के बावजूद रविवार को थोड़ी राहत मिली.

 (इनपुट- एजेंसी)

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