भारत-अमेरिका की जोड़ी लिखेगी नई इबारत, अब अंतरिक्ष स्टेशन में भारतीय यात्री भी होगा शामिल

Raginee Rai
Reporter The Printlines (Part of Bharat Express News Network)

India-US Relation: भारत और अमेरिका की जोड़ी नई इबारत लिखने को तैयार है. दोनों ही देश अंतरि‍क्ष के क्षेत्र में काम करने के लिए तेज गति पकड़े हुए हैं. इसी क्रम में अब अंतर्राष्‍ट्रीय अंतरिक्ष स्‍टेशन में एक भारतीय यात्री को भी शामिल किया जाएगा. इसकी जानकारी नासा प्रशासक बिल नेल्‍सन ने शेयर की है. उन्‍होंने कहा कि अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी भारत के साथ सहयोग बढ़ाएगी. नेल्सन का बयान अमेरिका और भारत की ओर से एक फैक्टशीट जारी किए जाने के बाद आया है.

अंतरिक्ष स्टेशन पर इसरो अंतरिक्ष यात्री

यूएस भारत की ओर से जारी किए गए फैक्टशीट में कहा गया है कि दोनों देश अमेरिका में इसरो के अंतरिक्ष यात्रियों के लिए आधुनिक ट्रेनिंग शुरू करने की दिशा में काम कर रहे हैं. बिल नेल्सन ने बुधवार को सोशल मीडिया प्‍लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्‍ट में लिखा- ‘‘पिछले साल की मेरी भारत यात्रा के बाद आगे बढ़ते हुए नासा मानवता के फायदे के लिए अहम एवं उभरती प्रौद्योगिकी पर अमेरिका एवं भारत की पहल को बढ़ाती रहेगी. हम साथ मिलकर अंतरिक्ष में दोनों देशों के सहयोग का विस्तार कर रहे हैं. अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पर संयुक्त प्रयास में इसरो के एक अंतरिक्ष यात्री को शामिल करेंगे.’’

उन्‍होंने आगे कहा कि ‘‘इस मिशन की बारीकियां अभी तय की जा रही हैं, लेकिन इन प्रयासों से भविष्य में अंतरिक्ष यात्रा में मदद मिलेगी जिससे पृथ्‍वी पर जीवन में सुधार होगा.’’

अमेरिकी और भारतीय एनएसए के बीच हुई थी वार्ता

जानकारी दें कि, फैक्टशीट जारी करने से पहले सोमवार को अमेरिका के एनएसए जेक सुलिवन और भारतीय राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल के बीच ‘आईसीईटी (महत्वपूर्ण एवं उभरती प्रौद्योगिकी पर भारत-अमेरिका की पहल)’ पर चर्चा हुई थी. दोनों एनएसए ने नई दिल्ली में कहा था कि अंतरिक्ष में आपसी सहयोग को गहरा बनाने के लिए उन्होंने रणनीतिक मानव अंतरिक्ष उड़ान सहयोग रूपरेखा तय कर ली है और वो ‘नासा जॉनसन स्पेस सेंटर’ में इसरो अंतरिक्ष यात्रियों का ट्रेनिंग शुरू करने की दिशा में काम कर रहे हैं.

बढ़ाना होगा आपसी सहयोग 

हाल ही में भारत में अमेरिकी राजदूत एरिक गार्सेटी ने कहा था कि अमेरिका इस साल के अंत तक एक भारतीय अंतरिक्ष यात्री को अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पर भेजेगा. उन्होंने कहा था कि इस वर्ष के अंत तक नासा और इसरो के बीच एनआईएसएआर (NISAR) परियोजना के तहत एक संयुक्त मिशन को भी शुरू किया जा सकता है. एरिक गार्सेटी ने यह भी कहा था कि अमेरिका के पास कुछ क्षमताएं हैं, जिनकी भारत में आज भी कमी हैं. दोनों देशों को मिलकर अपनी क्षमताओं को मजबूत बनाने के लिए परस्‍पर सहयोग बढ़ाना होगा.

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