Maldives India Relations : मालदीव में मोहम्मद मुइज्जू राष्ट्रपति पद के शपथ लेने के बाद ही भारतीय सैनिको को वापस अपने देश भेज दिया था और तभी मालदीव और भारत के रिश्तों में तनाव की स्थिति बनी हुई है. वहीं, चीन मालदीव की इंटरनल पॉलिसी में समय समय पर अपनी राय पेश करता रहता है. ऐसे में कहा जा रहा है कि चीन और मालदीव भारत के खिलाफ कोई नया प्लान बना रहे है. हालांकि इससे पहले चीन के अपने जासूसी जहाज को मालदीव में भेजने की बात सामने आई थी.
वहीं, सोमवार को चीन के साथ मालदीव ने अपने सैन्य संबंधों को मजबूत करने के लिए एक मीटिंग भी की थी. इस दौरान मीटिंग में रक्षा मंत्री घासन मौमून और मालदीव के चीनी राजदूत वांग लिक्सिन ने दोनों देशों के बीच सुरक्षा विभाग को लेकर बातचीत की है.
चीन के साथ रिश्ते मजबूत करने में जुटा मालदीव
भारत से रिश्ते खराब होने के बाद मुइज्जू सरकार चीन के साथ अपनी दोस्ती को मजबूत करने में जुटा हुआ है. यही वजह है कि मालदीव को विपक्षीय देशों की आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा है. बता दें कि एक चीनी जासूसी जहाज को कई देशों ने अपने तट पर रुकने नहीं दिया, लेकिन मालदीव के विशेष आर्थिक क्षेत्र के पास एक महीने का समय बिताया, जिसके कारण कई देशों के साथ उसके संबंध खराब हुए. दरअसल, मुइज्जू ने पहले कहा था कि समझौते के तहत चीन सैन्य उपकरणों की आपूर्ति करेगा और सैनिकों को प्रशिक्षित करेगा.
भारत के हेलीकॉप्टरों को उड़ा रहा Maldives
हालांकि भारत सरकार की ओर से भी दिए गए एचएएल के हेलीकॉप्टर का संचालन मालदीव कर रहा है. मालदीव को उपहार स्वरूप दिए गए 2 हेलीकॉप्टरों में उसके राष्ट्रीय रक्षा बल के सैनिक सवार होते हैं. मालदीव मीडिया के अनुसार, हेलीकॉप्टर उड़ाए जाने पर मालदीव राष्ट्रीय रक्षा बल का एक सैनिक उनपर मौजूद रहता है. आपको बता दें कि मालदीव ने 10 मई की तय समयसीमा तक सभी भारतीय सैनिकों को वापस भेज दिया था. इसके बाद ये खबरें आई थी कि मालदीव के पास हेलीकॉप्टर उड़ाने के लिए कोई उपयुक्त सैनिक नहीं है.
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