India Laos Relations: मोदी सरकार की सफल विदेश नीति का एक बार फिर से उदाहरण देखने को मिला है. एक बार फिर से मोदी सरकार उन लोगों के लिए संकट मोचन साबित हुई है, जो विदेश में अच्छी नौकरी पाने के झांसे में आ गए थे. जानकारी के अनुसार भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रयास के बाद लाओस में फंसे 13 भारतीयों को सुरक्षित वापस भारत लाया गया है.
दरअसल, इन कामगारों को विदेश में अच्छी नौकरी करने का झांसा देकर लाओस ले जाया गया था. वहां पर जाने के बाद उनको अधिक श्रम कराने, प्रताड़ना देने और पैसा ना मिलने जैसी परेशानियों से जूझना पड़ रहा था.
विदेश मंत्रालय की नीति आई काम
लाओस में फंसे 13 लोगों के बारे में जब भारत के विदेश मंत्रालय को जानकारी मिली, तो सरकार एक्टिव हो गई. मोदी सरकार के अथक प्रयास के बाद लाओस में फंसे 13 भारतीयों को स्वदेश वापस लाया गया. सभी सुरक्षित हैं. अब इन सभी को इनके घर भेजा जा रहा है. इस बात की जानकारी रविवार को लाओस में भारतीय दूतावास ने दी.
आपको बता दें कि इससे पहले भी पिछले महीने में लाओस में फंसे 17 भारतीय श्रमिकों को बचाया गया और उनको भारत लाया गया था. सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लाओस में भारतीय दूतावास ने एक पोस्ट करते हुए लिखा, “सर्वोच्च प्राथमिकता के रूप में भारतीयों की सुरक्षा और हित सुनिश्चित करने के लिए दूतावास ने 13 भारतीयों को सफलतापूर्वक बचाया और वापस लाया गया.”
लकड़ी के कारखाने में कर रहे थे काम
जानकारी के मुताबिक लाओस में फंसे इन 13 भारतीयों से लकड़ी के कारखाने में काम कराया जा रहा था. इन सभी को अच्छी नौकरी का झांसा देकर यहां लाया गया था. जो लोग लाओस में फंसे थे, उनमें ओडिशा के सात कामगार और बोकेओ प्रांत में स्थित गोल्डन ट्रायंगल एसईजेड में काम करने वाले छह भारतीय युवा शामिल हैं. इन सभी को सुरक्षित बचा लिया गया है. इससे पहले भी भारत सरकार तमाम भारतीयों, छात्रों और कामगारों को विशेष अभियान बचाने में सफल हुई है.
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