Mohamed Muizzu India Visit: मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू इस समय भारत में है, ऐसे में उनके तेवर कुछ बदले बदले नजर आ रहे है, क्योंकि अब वो भारत के खिलाफ नहीं बल्कि चीन के खिलाफ कदम उठा रहे है.
दरअसल, हाल ही में उन्होंने एक बड़ा फैसला लिया है. मुइज्जू ने मालदीव में चीनी कंपनी से लामू गाधू ट्रांसशिपमेंट पोर्ट प्रोजेक्ट पर किए गए करार को खत्म करके उसे भारत को सौंप दिया है. कहा जा रहा है कि इस प्रोजेक्ट को लेकर चीनी कंपनी बहुत ही सुस्त थी. जिससे मुइज्जू नाराज थें और यही वजह है कि उन्होंने इस प्रोजेक्ट पर भारत के साथ काम करने का प्लान बनाया है.
भारत के लिए बड़ी कुटनीतिक सफलता
बता दें कि मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू को चीन समर्थक माना जाता है. उन्होंने अपनी चुनावी कैंपेन के दौरान भारत विरोधी एजेंडें को बढ़ावा भी दिया था, लेकिन अब उनके तेवर बदले हुए नजर आ रहे है. शायद अब उन्हें समझ में आ गया है कि भारत के साथ दुश्मनी उनके लिए ठीक नहीं है. और पर्यटन उद्योंगों में लगातार हो रहे घाटें से ये भी समझ गए होंगे की भारत के साथ संबंध खराब करने से उनके देश को ही नुकसान हो रहा है. वहीं, भारत के लिए लामू गाधू ट्रांसशिपमेंट पोर्ट प्रोजेक्ट का करार बड़ी कुटनीतिक सफलता है.
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