Iran Qatar Relations: मिडिल-ईस्ट में रोजाना बढ़ रहे तनाव के मध्य ईरान कतर के साथ अपनी साझेदारी बढ़ाने में लगा हुआ है. ईरान में कतर के नवनियुक्त राजदूत साद बिन अब्दुल्लाह और ईरानी उपराष्ट्रपति मोहम्मद रेजा अरेफ ने मीटिंग की. दोनों देशों के मध्य रिश्तों को मजबूत करने पर जोर दिया गया. अमेरिका की प्रतिबंधों की धमकी के बाद भी दोनों नेताओं ने ईरान और कतर के मध्य बनने जा रही दुनिया की सबसे लंबी समुद्री टनल के प्लान पर चर्चा की.
तेहरान में हुई बैठक
शनिवार को तेहरान में हुई बैठक में कतर के राजदूत साद बिन अब्दुल्ला के साथ अरेफ ने दोनों देशों के बीच चल रही महत्वाकांक्षी परियोजना के महत्व पर जोर दिया, जिसका उद्देश्य दोनों देशों के बीच संपर्क बढ़ाना है. उपराष्ट्रपति रेजा अरेफ ने कहा कि समुद्री टनल का शुरुआती अध्ययन करने के लिए एक विशेष ईरानी टीम नियुक्त की गई है, जो चर्चा के लिए आने वाले सप्ताह में दोहा का दौरा करने का प्लान बना रही है.
कतर और ईरान के बीच बढ़ रही करीबी
ईरान की सरकारी न्यूज एजेंसी के अनुसार, उपराष्ट्रपति ने तेहरान और दोहा के बीच मैत्रीपूर्ण राजनीतिक गठबंधन पर प्रकाश डालते हुए आर्थिक और सांस्कृतिक रिश्तों को और मजबूत करने की आशा व्यक्त की. उन्होंने कहा कि सभी क्षेत्रों में ईरान और कतर के बीच संबंधों को आगे बढ़ाने की कोई सीमा नहीं है. इसके साथ ही उन्होंने गाजा मध्यस्थता में कतर की कोशिशों की तारीफ भी की.
परियोजनाओं में कतर करेगा निवेश
बैठक में कतर के राजदूत ने पिछले महीने दोहा में हुई कतर के अमीर और ईरान के राष्ट्रपति के बीच बैठक में हुई चर्चा को रेखांकित किया, जहां दोनों नेताओं ने आर्थिक संबंधों को उनके राजनीतिक संबंधों में सुधार करने की इच्छा व्यक्त की थी. कतर के राजदूत साद ने ऊर्जा, मानवीय सहायता और खास तौर से अंडरसी टनल प्रोजेक्ट के विकास में कतर के निवेश को साझेदारी के मुख्य क्षेत्रों के रूप में से एक बताया.
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