व्हाइट हाउस में इफ्तार पार्टी का आयोजन, राष्ट्रपति ट्रंप ने मुस्लिम समुदाय का जताया आभार, कहा…

Raginee Rai
Reporter The Printlines (Part of Bharat Express News Network)

Donald Trump Iftar Party: अमेरिका के व्‍हाइट हाउस में इफ्तार पार्टी का आयोजन किया गया. इसमें अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप भी शामिल हुए. इफ्तार पार्टी करते हुए राष्‍ट्रपति ने अमेरिकी मुस्लिम समुदाय के समर्थन के लिए आभार जताया है. ट्रंप ने अपने संबोधन में मुस्लिम समुदाय की धार्मिक परंपराओं का सम्मान किया और पवित्र महीना रमजान के दौरान उनके समर्पण की प्रशंसा की.

इफ्तार होना खुशी की बात 

राष्‍ट्रपति ट्रंप ने कहा कि नवंबर 2024 के राष्ट्रपति चुनाव में मुस्लिम-अमेरिकियों ने रिकॉर्ड संख्या में उनका सपोर्ट किया, जो उनके लिए ‘अविश्वसनीय’ था. इफ्तार पार्टी के दौरान राष्‍ट्रपति ट्रंप ने कहा कि व्हाइट हाउस में ऐसा आयोजन होना खुशी की बात है और मेहमानों को इसका आनंद लेना चाहिए. उन्होंने मजाकिया लहजे में यह भी कहा कि यदि किसी को पसंद ना आए तो वो शिकायत ना करें, क्योंकि वो अभी भी व्हाइट हाउस में हैं. हालांकि, कई लोगों ने ऐसी टिप्पणियों को असंवेदनशील और मुस्लिम समुदाय की भावनाओं का अनादर करने वाला माना.

शांति के लिए कर रहे प्रयास 

अमेरिकी राष्‍ट्रपति ने इस अवसर पर मध्‍य-पूर्व में शांति स्थापित करने के अपने प्रशासन के प्रयासों को भी उजागर किया. उन्होंने हमास और इजरायल के बीच जारी संघर्ष का जिक्र करते हुए कहा कि अमेरिका, मिस्र और कतर की मध्यस्थता में जनवरी में जो सीजफायर हुआ था, वह मार्च में समाप्‍त हो गया. हालांकि, राष्‍ट्रपति ट्रंप के आलोचकों का कहना है कि उनके कार्यकाल की विदेश नीति ने मिडिल ईस्‍ट में स्थायी शांति लाने में कोई ठोस योगदान नहीं दिया.

अमेरिकी सियासत में छिड़ी बहस

राष्‍ट्रपति ट्रंप की इफ्तार पार्टी ने अमेरिका की सियासत में एक बार फिर हलचल पैदा कर दी है. डोनाल्‍ड ट्रंप के समर्थकों का कहना है कि यह मुस्लिम समुदाय के प्रति उनके बदले हुए रुख का संकेत है, जबकि विरोधियों का मानना है कि यह केवल राजनीतिक अवसरवाद का एक और उदाहरण है.

डोनाल्‍ड ट्रंप की ओर से आयोजित इस इफ्तार पार्टी को लेकर अमेरिकी मुस्लिम समुदाय में नाराजगी भी देखी जा रही है. व्हाइट हाउस के बाहर कई मुस्लिम सिविल राइट्स समूहों ने ‘Not Trump’s Iftar’ नाम से विरोध प्रदर्शन किया. प्रदर्शनकारियों का कहना था कि यह ट्रंप की कथनी और करनी में अंतर को दिखाता है.

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