UPI in Maldives: इन दिनों मोहम्मद मुइज्जू का देश मालदीव वित्तीय संकटों से जुझ रहा है. ऐसे में इस संकट ये उबरने के लिए राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू ने भारत के यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (UPI) को मालदीव में लागू करने के लिए जरूरी कदम उठाने का फैसला किया है, जिससे मालदीव की अर्थव्यवस्था के लिए कई फायदे होंगे. साथ ही आर्थिक समावेशन भी बढ़ेगा.
इतना ही नहीं, मुइज्जू के इस कदम से वित्तीय लेन-देन में सुधार होगा और डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर को भी मजबूती मिलेगी. मालदीव के राष्ट्रपति निर्णय उस वक्त लिया जब कैबिनेट ने आर्थिक विकास और व्यापार मंत्री द्वारा प्रस्तुत एक पेपर पर गहराई से चर्चा की. इस दौरान UPI को मालदीव में लागू करने के हर पहलू का अध्ययन किया गया.
राष्ट्रपति ने किया कंसोर्टियम बनाने का फैसला
इसके बाद एक बयान जारी कर कहा गया कि राष्ट्रपति डॉ. मुइज्जू ने इस संदर्भ में मालदीव में UPI लागू करने के लिए एक कंसोर्टियम बनाने का फैसला किया है. उन्होंने कहना है कि इस कंसोर्टियम में बैंक, टेलीकॉम कंपनियां, सरकारी कंपनियां और देश में काम करने वाली फिनटेक कंपनियां शामिल होंगी. साथ ही, उन्होंने कंसोर्टियम की प्रमुख एजेंसी के रूप में ट्रेडनेट मालदीव्स कॉर्पोरेशन लिमिटेड को नियुक्त किया है.
इसके अलावा, उन्होंने एक अंतर-एजेंसी समन्वय टीम बनाने का भी निर्णय लिया है, जिसमें वित्त मंत्रालय, आंतरिक सुरक्षा और तकनीकी मंत्रालय तथा मालदीव की मौद्रिक प्राधिकरण शामिल होंगे. यह टीम मालदीव में UPI के सफल कार्यन्वयन की आर्थिक विकास और व्यापार मंत्रालय के साथ मिलकर निगरानी करेगी.
देश के आर्थिक प्रगति को मिलेगी मजबूती
बता दें कि हाल ही में भारत और मालदीव के बीच UPI को लागू करने के लिए एक समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किए गए थे. यह समझौता भारतीय विदेश मंत्री एस. जयशंकर की मालदीव यात्रा के दौरान हुआ था. भारत का UPI पहले से ही कई अंतरराष्ट्रीय स्थानों पर सफलतापूर्वक काम कर रहा है, जिनमें यूएई, फ्रांस, मलेशिया, श्रीलंका, सिंगापुर, नेपाल, यूके और मॉरीशस शामिल हैं. वहीं, मालदीव में UPI के आने से डिजिटल पेमेंट और आर्थिक लेन-देन में आसानी होने के साथ ही देश की आर्थिक प्रगति को मजबूती मिलेगी.