नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस ने जंतर-मंतर पर विरोध-प्रदर्शन और हंगामा करने वालों के खिलाफ मामला दर्ज किया है। नई दिल्ली जिला अंतर्गत पार्लियामेंट स्ट्रीट थाना में दर्ज एफआईआर के अंतर्गत विरोध-प्रदर्शन के आयोजनकर्ताओं के खिलाफ भी मामला दर्ज हुआ है।
इस मामले में पुलिस ने धारा 147, 149, 186, 188, 332, 353 और पीडीपीपी की धारा 3 के तहत मामला दर्ज किया है। इससे पहले दिन भर पुलिस और पहलवानों के बीच दंगल में 700 लोगों को हिरासत में लिया गया था। जंतर-मंतर से प्रदर्शनकारी पहलवानों सहित 109 लोगों को हिरासत में लिया गया।
शाम ढलते ही पसरा सन्नाटा
महिला प्रदर्शनकारियों को देर शाम और पुरुष पहलवानों सहित अन्य हिरासत में लिए लोगों को देर रात छोड़ दिया गया। दिल्ली के जिस जंतर-मंतर पर पिछले 36 दिनों से पूरे देश की नजरें टिकी थीं। वहां रविवार देर शाम सन्नाटा पसरा रहा। शाम छह बजे के बाद यहां सिर्फ पुलिस और सुरत्रा कर्मियों के अलावा एक भी व्यक्ति नहीं दिख रहा था। जिधर भी नजर जा रही थी, उधर सिर्फ बैरिकेडिंग ही नजर आ रही थी। पूरे क्षेत्र को सील कर दिया गया है।
सीमाओं पर पुलिस का पहरा
नए संसद के उद्घाटन के दौरान जंतर-मंतर पर धरना दे रहे पहलवानों के समर्थन में होने वाली महिला खाप पंचायत को देखते हुए शनिवार रात से ही दिल्ली की सीमाओं पर पुलिस का कड़ा पहरा रहा। हरियाणा-दिल्ली बॉर्डर और उत्तर प्रदेश-दिल्ली बॉर्डर पर भारी संख्या में पुलिस बल और अर्धसैनिक बल को तैनात किया गया था। इसके साथ ही पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए सड़क पर बैरिकेडिंग, डंपर, बस, क्रेन और कंक्रीट से बने बड़े-बड़े पत्थरों को बीचो-बीच रखकर रास्ता को ब्लॉक कर दिया था। बॉर्डर पर आने वाले वाहनों की जांच के बाद उन्हें दिल्ली में प्रवेश की इजाजत दी जा रही थी। बाहरी दिल्ली के बॉर्डरों से सटे दिल्ली के जिलों के पुलिस उपायुक्तों ने बताया कि यहां किसी को भी हिरासत में नहीं लिया गया है। वहीं गाजीपुर बॉर्डर पर जबरन प्रवेश करने की कोशिश करने वाले कुछ लोगों को हिरासत में लिया गया। हालांकि, पहलवानों के समर्थन में जंतर-मंतर पर आ रहे खाप समर्थकों को हरियाणा के कुछ बॉर्डरों पर पहले ही हिरासत में ले लिया गया था।