Lord Shiva Rudrabhishek in Sawan Month 2023: भगवान शिव की पूजा के पवित्र माह सावन की शुरुआत हो गई है. सावन महीने में भगवान शिव की पूजा में रुद्राभिषेक का विशेष महत्व है. काशी के ज्योतिष मर्मज्ञ श्रीनाथ प्रपन्नाचार्य की मानें तो रुद्रार्चन और रुद्राभिषेक से हमारी कुंडली से पातक कर्म एवं महापातक भी जलकर भस्म हो जाते हैं और भगवान शिव का आशीर्वाद मिलता है.
काशी के ज्योतिष मर्मज्ञ श्रीनाथ प्रपन्नाचार्य के अनुसार रुद्रहृदयोपनिषद में शिव के बारे में कहा गया है कि सर्वदेवात्मको रुद्र: सर्वे देवा: शिवात्मका अर्थात सभी देवताओं की आत्मा में रुद्र उपस्थित हैं और सभी देवता रुद्र की आत्मा हैं. इसलिए भगवान शिव की पूजा करने से सभी देवी-देवताओं के पूजा का फल मिलता है. हमारे शास्त्रों में विविध कामनाओं की पूर्ति के लिए रुद्राभिषेक के पूजन के निमित्त अनेक द्रव्यों तथा पूजन सामग्री को बताया गया है. आइए जानते हैं अलग-अलग मनोरथ को पूर्ण करने के लिए सावन महीने में भगवान शिव का रुद्राभिषेक कैसे करना चाहिए.
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अलग-अलग मनोकामना के लिए अलग द्रव्यों से करें रुद्राभिषेक
- अच्छी बारिश के लिए जल से अभिषेक करें.
- असाध्य रोगों को शांत करने के लिए कुशोदक (कुश के रस) से रुद्राभिषेक करें.
- भवन- भूमि व वाहन के लिए दही से रुद्राभिषेक करें.
- धन प्राप्ति के लिए गन्ने के रस से रुद्राभिषेक करें.
- धनवृद्धि के लिए शहद एवं घी से अभिषेक करें.
- मोक्ष की प्राप्ति के लिए तीर्थ के जल से अभिषेक करें.
- बीमारी जड़ से खत्म करने के लिए इत्र मिले जल से अभिषेक करें.
- पुत्र प्राप्ति के लिए गोदुग्ध (गाय के दुग्ध) से रुद्राभिषेक करें.
- वंश का विस्तार के लिए सहस्रनाम मंत्रों का उच्चारण करते हुए घृत की धारा से रुद्राभिषेक करें.
- विद्या वर बुद्धि के लिए शक्कर मिले दूध से अभिषेक करें.
- शत्रु को पराजित करने के लिए सरसों के तेल से अभिषेक करें.
(Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और विभिन्न जानकारियों पर आधारित है. The Printlines इसकी पुष्टि नहीं करता है.)